हरिकेश यादव
इंडेविन न्यूज नेटवर्क
अमेठी।
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सी एम ओ अमेठी |
गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को स्वस्थ एवं संतुलन आहार के साथ-साथ समय-समय पर स्वास्थ्य जांच कराना भी बेहद जरूरी होता है। समय से प्रसव पूर्व जांच कराने से जच्चा-बच्चा दोनों स्वस्थ रहते हैं जिससे एक स्वस्थ माँ, एक स्वस्थ बच्चे को जन्म देती है । मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ आशुतोष कुमार दुबे ने बताया कि प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना (पीएमएमवीवाई) के तहत पहली बार गर्भवती हुईं महिलाओं को पोषण सहायता के रूप में तीन किश्तों में 5000 रुपये सरकार द्वारा सीधे उनके पंजीकृत खाते में पहुंचाए जाते हैं । इस योजना का मुख्य उद्देश्य है कि जनपद की गरीब व कमजोर वर्ग की महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान बेहतर पोषण की व्यवस्था हो सके, जिससे जच्चा-बच्चा दोनों स्वस्थ रहें। प्रदेश में प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना की शुरुआत जनवरी 2017 से शुरू की गयी थी। उन्होनें बताया कि योजना के तहत जनवरी 2017 से 28 जुलाई 2021तक जनपद मे 41397 लाभार्थियों को लाभ दिया गया । योजना के तहत जिले में अब तक करीब 14 करोड़ 51 लाख 11 हजार रुपये डीबीटी के माध्यम से लाभार्थियों के खाते में भेजे जा चुके हैं । पीएमएमवीवाई की जिला समन्वयक शिखा पांडेय ने बताया कि योजना के तहत पहली बार गर्भवती होने वाली महिलाओं को तीन किश्तों में 5000 रुपए दिए जाते हैं । पहली किश्त 1000 रुपए की होती है, जो कि गर्भावस्था के दौरान पहले 150 दिन के अंदर पंजीकरण कराने के बाद प्रदान की जाती है। दूसरी किश्त गर्भावस्था के 180 दिन के अंदर कम से कम एक प्रसव पूर्व जांच कराने पर प्रदान की जाती है, दूसरी किश्त में लाभार्थी को 2000 रुपए मिलते हैं। तीसरी किश्त प्रसव के 42 दिन के बाद बच्चे के प्रथम चरण के टीकाकरण पूर्ण होने पर मिलती है। इसके तहत लाभार्थी को 2000 रुपए दिए जाते हैं। यह पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन है और पोर्टल से जुड़ी हुयी है । पोर्टल पर लाभार्थी का पंजीकरण होना बहुत ही आवश्यक है, क्योंकि इसी के आधार पर उसे योजना का लाभ मिल सकेगा ।