नई दिल्ली
दिल्ली सरकार के सभी मंत्री और अधिकारी अब इलेक्ट्रिक गाड़ियों की सवारी ही करेंगे। दिल्ली सरकार ने अपनी सभी कारों को इलेक्ट्रिक गाड़ी में बदलने पर काम शुरू कर दिया है। इसकी घोषणा दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलौत ने फरवरी 2021 में किया था कि दिल्ली सरकार के अधिकारियों के उपयोग की जाने वाली सभी लीज या किराए पर ली गई कारों को 6 महीने की अवधि के अंदर इलेक्ट्रिक व्हीकल में परिवर्तित कर दिया जाएगा।
दिल्ली सरकार कोशिश कर रही है कि अगस्त के अंतिम सप्ताह तक सभी विभागों में इलेक्ट्रिक गाड़ियों का उपयोग शुरू हो जाए। परिवहन मंत्री के अनुसार आंकड़ों के मुताबिक इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी 2021 लागू होने के बाद अब तक तकरीबन 14500 इलेक्ट्रिक वाहनों का रजिस्ट्रेशन हुआ है। दिल्ली में इलेक्ट्रिक गाड़ियों की बिक्री पर तो अब तक दिल्ली सरकार के योजना से 9 हजार से ज्यादा लोगों ने लाभ लिया है।
दिल्ली सरकार ने 8500 से भी ज्यादा इलेक्ट्रिक गाड़ियों के लिए अब तक तकरीबन 32 करोड़ रुपये से ज्यादा की सब्सिडी जारी की है। बता दें कि दिल्ली में इलेक्ट्रिक गाड़ियों के लिए पॉलिसी का नोटिफिकेशन पिछले साल 7 अगस्त को जारी हुआ था। उसके बाद से ही रजिस्टर्ड ई-गाड़ियों पर सब्सिडी का फायदा दिल्लीवालों को मिल रहा है। हालांकि, बीते एक साल में शहर में कोरोना की दो लहरों के आने के बाद गाड़ियों की बिक्री पर असर देखने को मिला है।इसके बावजूद जून 2021 के बाद से एक बार फिर से इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री बढ़ गई है।
गहलौत ने बताया कि दिसंबर तक दिल्ली के अलग-अलग बिल्डिंग कॉम्प्लेक्स में 10 हजार से ज्यादा इलेक्ट्रिक व्हीकल चार्जर लगाने का लक्ष्य रखा गया है। 100 गाड़ियों से ज्यादा पार्किंग स्पेस वाले सिनेमाघरों, मल्टीप्लेक्स, ऑफिस स्पेस, होटल, रेस्टोरेंट और अस्पतालों को पार्किंग क्षमता का 5 फीसदी ई-गाड़ियों के लिए रिजर्व करना होगा। 100 से ज्यादा पार्किंग स्पेस वाली कमर्शियल और इंस्टिट्यूशन बिल्डिंग में कम से कम 5 फीसदी जगह पर चार्जिंग पॉइंट्स लगाए जाएंगे।
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