अंकित मिश्रा -इंडेविन न्यूज़ नेटवर्क
रामकोट-सीतापुर।
आउटसोर्सिंग संविदा कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के बैनर तले कर्मचारियों ने मांगों को लेकर 33/11 केवी विद्युत उपकेंद्र रामकोट पर नारेबाजी की धरना प्रदर्शन किया और अपना विरोध जताया।
पावर कारपोरेशन प्रबंध द्वारा बिजली विभाग की नीतियों का उल्लंघन कर नियमित प्रकार के कार्यों को ठेकेदारों, संविदाकारों के माध्यम से कर्मचारियों की तैनाती कर कार्य कराया जा रहा है। जिसके बदले में ठेकेदार संविदाकारों के वेतन के रूप में ₹6000 से ₹9700 तक दिया जाता है। जिससे इन कर्मचारियों को अपने परिवार के भरण पोषण एवं अपनों की शिक्षा-दीक्षा में काफ़ी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। पावर कार्पोरेशन प्रबंधन जहां एक और सैनिक कल्याण निगम से तैनात कर्मचारियों का अनुबंध ₹24000 किया जा रहा है। वहीं दूसरी और समान कार्य समान पद पर ठेकेदारों संविदाकारों के माध्यम से तैनात कर्मचारियों का अनुबंध ₹11000 किया जा रहा है। जो कि न्याय संगत नहीं है। जिससे कर्मचारियों में असंतोष व्याप्त है।
मांगों में कार्यरत संविदा कर्मचारियों ने ठेकेदारी प्रथा बंद करने, आउटसोर्सिंग के माध्यम से कार्य कर रहे कर्मचारियों को विभागीय नीति के अनुसार समायोजित करने, समान कार्य का समान वेतन देने, आउटसोर्स कर्मचारियों की न्यूनतम मजदूरी 24 हजार रुपये निर्धारित करने, सरकार से समय -समय पर दिए जाने वाले समस्त हित लाभों को देने की मांग की। संविदा कर्मचारियों को वरीयता के आधार पर नियमित करने, संविदा कर्मचारियों को न्यूनतम वेतन देने के लिए विभागीय कर्मचारियों की तरह समस्त हित लाभ देने की एक स्वर से मांग की। इस मौके पर संविदा कर्मी अनिल यादव, प्रभाकर, संजय पाल, संदीप मिश्रा, विमलेश, निशीथ श्रीवास्तव (लाला), संदीप वर्मा, अर्जुन, अनुज, रामसागर (गौरव), अनिल, दीपक, रामचंद्र, अनीस, हरिनाम, रविकांत, सत्येंद्र, धर्मेंद्र, सपनल, आदि मौजूद रहे।