मेरठ
यूपी में डेंगूऔर वायरल बुखार के बाद अब 'स्क्रब टाइफस' ने दहशत फैला दी है। बुलंदशहर के रहने वाला 2 साल का बच्चे का इलाज मेरठ जिला अस्पताल में किया जा रहा है। इस बारे में जानकारी देते हुए सीएमओ ने बताया कि स्क्रब टाइफस घुन, छोटे कीट , गिलहरी और चूहे के कारण फैलता है। बरसात के मौसम में इनसे बचाव करें। समय पर इलाज न मिले तो यह बीमारी बढ़ सकती है। पहले निजी लैब में जांच कराई गई, फिर कन्फर्म करने के लिए मेडिकल कॉलेज में भी जांच कराई गई।
मंडलीय सर्विलांस अधिकारी डॉ अशोक तालियान ने बताया कि दोनों जगह पुष्टि हुई है। मेरठ में इससे पहले एक महिला में यह बीमारी मिली थी। महिला ने लक्षण मिलने पर गाजियाबाद में इसकी जांच कराई थी। ये ओरिएंटिया त्सुत्सुगामुशी बैक्टीरिया के कारण होती है। मेरठ मेडिकल कॉलेज में फिलहाल डेंगू और कोरोना के बाद स्क्रब टाइफस की भी जांच शुरू हो गई है ताकि रोगी को सही उपचार मिल सके।
कीड़े के काटने के दो हफ्ते के अंदर मरीज को तेज बुखार (102-103 डिग्री फारेनहाइट), होता है। सिरदर्द, खांसी, मांसपेशियों में दर्द व शरीर में कमजोरी आने लगती है। आमतौर पर इस बीमारी से पीड़ित 40-50 फीसदी लोगों में कीड़े के काटने का निशान दिखता है। यब निशान गोल और ब्लैक मार्क होता है।