जावेद अहमद-सिटी हेड
इंडेविन न्यूज नेटवर्क
सुल्तानपुर।
एक बार फिर से सुल्तानपुर जिले के वासियों ने बता दिया हम एकता के साथ मिल जुल कर रहना चाहते हैं न कि लड़ कर। गौरतलब है कि दिनांक 17 जून दिन जुम्मा को रेड अलर्ट घोषित कर दिया गया है। सूत्रों के हवाले से जानकारी मिली है कि कुछ लोग सुल्तानपुर का माहौल बिगाड़ने की कोशिश कर रहे थे। जनता को गुमराह करने की कोशिश कर रहे थे माहौल बिगाड़ने की फिराक में थे, माहौल बिगाड़ने का कार्य पुलिस प्रशासन के संज्ञान में आया था। उसी कड़ी में पुलिस प्रशासन ने रेड अलर्ट जारी कर दिया। रात भर पुलिस प्रशासन अपने कामों को अंजाम और चारों तरफ नाकाबंदी जैसा माहौल था। इसी कड़ी में एसपी सुल्तानपुर डॉ विपिन मिश्रा ने अपाचे मोटरसाइकिल से पूरे शहर का किया भ्रमण और सुरक्षा का जायजा लिया। पुलिस प्रशासन के अच्छे कामों की जितनी प्रसंशा की जाए कम है। जुमे की नमाज मुसलमानों ने शांतिपूर्वक तरह से अदा किया। हिंदू मुस्लिम भाई चारे का सबूत नबी करीम सल्लल्लाहो वाले वसल्लम पर कथित तौर पर टिप्पणी करने वाले नुपुर शर्मा जैसे लोगों को दिया। दीया पैगाम कि इस्लाम शांति और भाईचारे का मजहब है मुस्लिम समुदाय किसी भी धर्म की निंदा नहीं करता है। सभी धर्मों की इज्जत करते हैं पिछले कई दिनों से जिला अधिकारी महोदय के द्वारा राज्यपाल को ज्ञापन दिया गया। उसमें भी मुसलमानों ने दिखाया अपनी सहनशीलता का सबूत और कहा कि मोहम्मद को मानने वाले केवल मुस्लिम ही नहीं हर कौम के लोग मोहम्मद रसूल अल्लाह सल्लल्लाहो वाले वसल्लम को मानते और जानते हैं। उनके अच्छे कार्यों के लिए बहुत प्रसिद्ध हैं जिन्होंने अपने जमाने में जिंदा लड़कियों को पैदा होने के बाद दफनाने की प्रथा का अंत किया। गरीबून हमेशा बेपनाह मोहब्बत करके थे, साबर का दामन कभी नहीं छोड़ा कर्बला के मैदान में उनके परिवार के नौनिहालों का बड़ी बेरहमी कत्ल कर दिया जाता है। बुराई के तरफ अपने हाथों को कभी नहीं किया सच्चाई के दामन पकड़े हुए शहीद कर दिए जाते हैं ऐसे हैं मोहम्मद के घराने वाले जो सब्र और जबर की लड़ाई में सब्र की जीत हुई। लोग आज भी उन्हें याद करते है अल्लाह के भेजे हुए नबी हजरत मोहम्मद मुस्तफा सल्लल्लाहो वाले वसल्लम पर अपना ईमान रखते हैं और अपनी जान से भी ज्यादा उनसे मोहब्बत करते हैं, कजिए शहर अल्लामा मौलाना मुफ्ती मोहम्मद महमूद राजवी ने की थी मुस्लिम समाज से शांति बनाए रखने की अपील और कानूनी ढंग से अपनी बात हकूमत तक पहुंचाने की बात कही।