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अमेठी के युवाओं ने जताया विरोध

० युवाओ ने लिया मोर्चा, पुलिस ने सूझ-बूझ से सभाली कमान 

हरिकेश यादव - संवाददाता (इंडेविन टाइम्स)

अमेठी। 

भारत सरकार अपने बनाये कानून से पहली उलझी। लेकिन सरकार ने दूसरी बार कानून बनाए। पहले किसानो ने तेरह माह तक बिरोध प्रदर्शन किए। सरकार ने तीन किसान बिल मजबूरन वापस लिये। लेकिन किसानो से वायदे किए। कि एम एस पी पर समिति गठित होगी। अभी तक सरकार समिति गठित करने के मुददे पर बैठक भी नही बुलाई। सरकार ने तीन किसान बिल कानून लाकर रार  सिर्फ मचाई। फिर सरकार ने देश के अमन चैन मे खलल डाल दी। और अग्नि पथ कानून लाकर अब युवाओ को हिंसा की राह मे झोंकने का काम किया lदेश के किसानो को पहले  सरकार ने लाल किए। अब युवाओ को रोजगार देने के नाम पर कानून सरकार ने लाई है। लेकिन युवा को यह बात हजम नही हो रही है। अमेठी जिले मे शुक्रवार को युवाओ ने सडको पर जोर दार प्रदर्शन किए। अपनी मांगो के समर्थन मे जोर दार गगन भेदी नारे लगाए। युवाओ ने रेलवे स्टेशन अमेठी, रेल पथ पर प्रदर्शन कर मांग किए कि 

अमेठी जिलाधिकारी राकेश कुमार मिश्र, पुलिस अधीक्षक दिनेश सिंह से बात करेगे। तब दोनो अधिकारी वातचीत के अमेठी शहर पहुचे। पुलिस अधीक्षक दिनेश सिंह ने मोर्चा सम्भाला। उन्होने कहा कि आप लोग युवा के अधिकार के लिए लड रहे है। लेकिन शान्ति से अपनी बात रखानी चाहिए। तेज आवाज मे कोई बात नही करनी चाहिए ।हिंसा कतई स्वीकार नही है। प्रशासन कानून के हिफाजत के लिए है। कानून को हाथ मे नही लेना दिया जायेगा ।

गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने  किसान बिल लाने  एक बात नही सुनी। सरकार ने सारे जतन करने के बाद फेल हो गई। और अन्त मे तीन किसान बिल मजबूरन वापस लिये। उसी तरह बेरोजगार को रोजगार देने के अग्नि पथ कानून सरकार लायी। लेकिन युवाओ को यह रोजगार रास नही आ रहा है ।अमेठी की सडक पर युवाओ ने जमकर नारे बाजी की। प्रदर्शन कर अपने अधिकार के लिए आवाज बुलंद किये। जगह-जगह प्रदर्शन  युवाओ ने किए, पुलिस से झड़प भी हुई।

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